
शाहरुख खान अभिनीत फिल्म ‘पठान’ की मुश्किलें बढ़ती जा रही हैं। अहमदाबाद के एक मॉल में फिल्म के पोस्टरों को फाड़ने की घटना सामने आई है और विश्व हिंदू परिषद (विहिप) तथा बजरंग दल ने कहा कि वह फिल्म को गुजरात में तब तक प्रदर्शित नहीं होने देंगे जबतक ‘बेशर्म रंग’ गाने का विवाद सुलझ नहीं जाता। सोशल मीडिया पर कई वीडियो प्रसारित हो रहे हैं जिनमें बुधवार को विहिप और बजरंग दल के सदस्य ‘पठान’ फिल्म के खिलाफ नारेबाजी करते दिख रहे हैं और उसके पोस्टर फाड़ रहे हैं।
बजरंग दल के उत्तरी गुजरात इकाई के अध्यक्ष ज्वलित मेहता ने कहा, ‘‘हम पठान के निर्माताओं से चाहते हैं कि वह ‘बेशर्म रंग’ शब्द को गाने से हटाएं और उस दृश्य को भी हटाए जिसमें अभिनेत्री ने भगवा कपड़े पहने हैं। अगर ये दो बदलाव नहीं होते तो हम पठान फिल्म को गुजरात में प्रदर्शित नहीं होने देंगे। हम फिल्म के शीर्षक के भी खिलाफ हैं क्योंकि यह लव जिहाद को बढ़ावा देता है, लेकिन इस समय हमारी मुख्य गाने को लेकर है।’’
गुजरात विहिप के प्रवक्ता हितेंद्रसिंह राजपूत ने कहा कि आर्दश तौर पर ‘बेशर्म रंग’ को फिल्म से हटा देना चाहिए। इस पूरे विवाद पर फिल्म उद्योग के अधिकतर लोगों ने कोई प्रतिक्रिया नहीं दी है, लेकिन शाहरुख खान की फिल्म ‘रईस’ को निर्देशित करने वाले ढोलकिया ने पठान फिल्म के खिलाफ प्रदर्शनों को ‘तोड़-फोड़ और गुंडागर्दी’ करार दिया है। ‘बेशर्म रंग’ के रिलीज होने के बाद ढोलकिया ने कहा कि कई सालों से शाहरुख खान के खिलाफ घृणात्मक हमले हो रहे हैं और इसकी निंदा ‘फिल्म उद्योग के प्रत्येक व्यक्ति को करनी चाहिए।’ कुछ और सोशल मीडिया उपयोगकर्ताओं ने भी बुधवार को अहमदाबाद में हुई घटना की निंदा की है। केंद्रीय फिल्म प्रमाणन बोर्ड के अध्यक्ष प्रसून जोशी ने कहा कि समिति ने निर्माताओं को गाने सहित सुझाये गये बदलाव को लागू करने और सिनेमाघरों में प्रदर्शित करने से पहले संशोधित संस्करण जमा करने को कहा है।