
चीन के पश्चिमी शिनजियांग प्रांत में धर्म के नाम पर चीनी सरकारी कड़ा एक्शन लेने वाली है. मुस्लिम-बहुल क्षेत्र में यह नियम सबसे सख्त होंगे. शिनजियांग में धर्म को नियंत्रित करने की चाहत में एक जबरदस्त प्लान बनाया गया है. इसका सीधा असर चीन में रहने वाले उइगर, कज़ाख, किर्गिज़ और हुई (उर्फ डुंगन्स) जैसे मुस्लिम जातीय समूहों पर पड़ेगा.
उइगर मुस्लिमों पर सबसे अधिक बुरा असर
जानकारों का कहना है कि इसका सीधा असर उइगर मुस्लिम और अल्पसंख्यक समूहों पर पड़ेगा. ऑक्सस सोसाइटी फॉर सेंट्रल एशियन अफेयर्स के प्रबंध निदेशक ब्रैडली जार्डिन ने बताया, “यह कदम महत्वपूर्ण है, क्योंकि यह चीन के धर्मों को अंतरराष्ट्रीय नेटवर्क और समुदायों से काटने और उन्हें चीनी कम्युनिस्ट पार्टी की निगरानी में सामाजिक और राजनीतिक रूप से अलग-थलग रखने के बारे में है.
दस लाख मुस्लिम अल्पसंख्यकों को जेल में कर दिया गया है बंद
चीन पर शिनजियांग में मानवाधिकारों के उल्लंघन का आरोप हमेशा से लगता रहा है. एक रिपोर्ट के मुताबिक दस लाख से अधिक उइगर, कजाख और अन्य मुस्लिम अल्पसंख्यकों को पहले से डिटेन सेंटर और जेल में बंद कर रखा गया है. चीन इस मामले पर हमेशा चुप्पी साधे रखा है, लेकिन परेशान लोगों की गवाही और लीक हुए आधिकारिक चीनी सरकारी दस्तावेज के आधार पर इस तरह के मामले दुनिया के सामने आए हैं. जिसमें जबरन श्रम से लेकर यौन शोषण, जबरन नसबंदी और उइगर मुस्लिमों के सांस्कृतिक और धार्मिक पहचान को मिटाना, मस्जिदों को तोड़ना और अन्य शामिल हैं.
चीन की जबरदस्ती, मुस्लिम देश चुप
इन कार्रवाइयों पर अंतर्राष्ट्रीय अधिकार समूहों और कई पश्चिमी सरकारों ने चीन पर नरसंहार के आरोप भी लगाए हैं. 2022 में संयुक्त राष्ट्र की एक रिपोर्ट में पाया गया कि चीन शिनजियांग में मानवाधिकारों का उल्लंघन कर रहा है जो मानवता के खिलाफ है. जब भी कोई देश या संस्था इन मामलों को दुनिया के सामने या चीन के सामने उठाती है तो चीन इसे सरासर मना कर देता है. जबकि चीन इस मामले में बड़े सफाई से कहता है कि वह अपने देश में जो कुछ भी कर रहा है, उसमें किसी का भी मानवाधिकार का हनन नहीं हो रहा. वह तो अपने प्रांत शिनजियांग में उग्रवाद और आतंकवाद जैसे नीतियों का मुकाबला कर रहा है.
1949 में पीपुल्स रिपब्लिक ऑफ चाइना की स्थापना के बाद से कम्युनिस्ट सरकार की नास्तिक विचारधारा के कारण देश के अंदर धर्म को दबाने और नियंत्रित करने के लगातार प्रयास किए गए हैं.